नई दिल्ली । भारतीय किसान यूनियन के राष्ट्रीय प्रवक्ता राकेश टिकैत ने कहा कि हम कुछ तो संतुष्ट है। दो मांगों को मान लिया गया है। अगली बैठक में हम MSP और 3 कानूनों को लेकर सरकार से बात करेंगे। कल की ट्रैक्टर रैली को हमने स्थगित कर दिया है, लेकिन आंदोलन जारी रहेगा।

ए कृषि कानूनों को लेकर जारी किसान आंदोलन के बीच बुधवार को एक किसान की बेटी ने गाजीपुर बॉर्डर के धरनास्थल पर ही केक काटकर अपना जन्मदिन मनाया।  
सिंघु बॉर्डर : तीन कृषि कानूनों पर गतिरोध अब खत्म हो रहा है। हालांकि, हम एमएसपी पर उनके साथ आम सहमति नहीं बना सके। पराली जलाने के मुद्दे पर सरकार ने किसानों को जुर्माने से बाहर करने पर सहमति व्यक्त की है। बिजली के मुद्दे पर सरकार ने पावर बिल 2020 को वापस ले लिया है : क्रांति किसान यूनियन के अध्यक्ष दर्शन पाल ने कहा

– सरकार ने बिजली के प्रस्तावित बिल को वापस ले लिया है। पराली के मामले में सरकार ने अध्यादेश जारी किया था, उसे भी वापस ले लिया है। MSP और कृषि कानूनों पर 4 तारीख को बात होगी : बलकरण सिंह बराड़, ऑल इंडिया किसान सभा पंजाब ने कहा

– सरकार ने 2 मांग मान ली हैं। हमारे 2 विषय रह गए हैं- MSP और 3 कृषि क़ानून। इन दोनों विषय पर 4 तारीख को 2 बजे बात होगी। आज बहुत अच्छे माहौल में बैठक हुई : बलविंदर सिंह, अध्यक्ष माझा किसान संघर्ष कमेटी, पंजाब ने कहा

कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि कृषि कानूनों और एमएसपी पर कानून को लेकर चर्चा खत्म नहीं हुई है। इसके लिए फिर से चार जनवरी को बैठक होगी। तोमर ने कहा, ”सर्दी का मौसम है, इसलिए किसानों को बुजुर्गों और बच्चों को घर जाने के लिए कहना चाहिए। यह भी किसान संगठनों से मैंने कहा है।”

  • बैठक के बाद कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा, ”आज की बैठक पहले की तरह बहुत अच्छे वातावरण में हुई। आज की बैठक में किसान संगठनों के नेताओं ने जो चार विषय चर्चा के लिए रखे थे, उसमें दो मुद्दों पर रजामंदी हो गई है। पहला- पराली को लेकर और दूसरा- बिजली कानून।”
  • गाजीपुर : भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष नरेश टिकैत ने कहा कि सरकार बातचीत के जरिए मामले को सुलझाना चाहती है तो यह अच्छी बात है। किसान तो बातचीत के लिए तैयार हैं। किसान बातचीत में अड़चन पैदा नहीं कर रहे हैं। बॉर्डर सील होने से जनता को नुकसान हो रहा है। यह हमारी मजबूरी है, अपनी बात कहां रखें?
  • दिल्ली : AAP नेता राघव चड्ढा ने कहा कि सिंघु बॉर्डर पर प्रदर्शनकारी किसानों के लिए हमने लंगर से लेकर कंबल की सेवा मुहैया कराई है। आज हम यहां फ्री वाई-फाई स्थापित हुआ है कि नहीं ये देखने आए हैं क्योंकि यहां के किसानों ने सिग्नल कमी की शिकायत की थी। कृषि कानूनों पर चर्चा के बीच केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल और नरेंद्र सिंह तोमर ने विज्ञान भवन में लंच ब्रेक के दौरान किसान नेताओं के साथ भोजन किया। केंद्रीय मंत्रियों से वार्ता के दौरान किसान नेताओं ने आंदोलन के दौरान मारे गए किसानों के परिवारों के लिए न्याय और मुआवजे की मांग की है।

एक कार सेवा टेम्पो किसानों के लिए खाना लेकर विज्ञान भवन पहुंचा था।

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