विशेष संवाददाता

रांची | राष्ट्रीय जनता दल के मुखिया और बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव कैदी हैं या सरकारी मेहमान ? यह सवाल उठना इसलिए लाजिमी है कि लालू यादव से मिलने के लिए रांची के रिम्स निदेशक बंगला के बाहर दिन की बजाय रात को भारी भीड़ जुट रही है। चारा घोटाले में सजायाफ्ता लालू प्रसाद यादव खराब सेहत के कारण रांची के रिम्स अस्पताल में भर्ती थे। लेकिन बहाना यह बनाया जा रहा है कि कोरोना काल में उन्हें निदेशक बंगला में शिफ्ट कर दिया गया है। लेकिन सच यह है कि ऐसा झारखंड सरकार की कृपा से हो रहा है।

बताया जा रहा है कि बिहार चुनाव को लेकर मिलने वालों की संख्या अचानक काफी बढ़ गई है। पहले भी लालू से मिलने वाले रिम्स के पेइंग वार्ड में जाया करते थे, लेकिन चुनावी समर में माहौल बदल गया है। प्राप्त जानकारी के मुताबिक, लोगों के आने के सिलसिला रात 8 बजे से शुरू होता है और रात 11 बजे तक चलता है। दिन में जहां निदेशक बंगला के गेट नंबर-2 से लोगों की मुलाकात कराई जाती है। वहीं शाम के बाद गेट नंबर एक से लोगों की एंट्री होने लगती है।

बीजेपी ने इस पूरे प्रकरण पर झारखंड की हेमंत सोरेन सरकार पर हमला बोला है। बीजेपी के प्रदेश प्रवक्ता प्रतुल शाहदेव ने कहा कि राज्य सरकार ने सजायाफ्ता कैदी लालू प्रसाद को सरकारी मेहमान बना दिया है। उन्होंने कहा कि कानून और जेल मैनुअल की सभी नियमों को तोड़कर लालू प्रसाद से मिलने वालों का दौर जारी है। शाहदेव ने कहा कि सरकार ये संदेश देना चाहती है कि घोटालेबाज़ों के लिए हमने अपनी बाहें खोल रखी हैं।

प्रतुल ने कहा कि जेल आईजी ने कहा है कि केली बंगला को जेल नहीं माना जा सकता है। उन्होंने इसे निराधार बताया। उन्होंने कहा कि जेल वह कोई ऐसी जगह भी हो सकती है जहां सजायाफ्ता कैदी को अल्पकाल के लिए भी रखा जाए। इसलिए सरकार या अधिकारी कुछ भी कहें लेकिन तकनीकी रूप से लालू प्रसाद फिलहाल रिम्स में हिरासत में हैं और उनके ऊपर जेल मैनुअल के सारे नियम लागू होंगे। उन्होंने कहा कि रूल 625 स्पष्ट कहता है कि एक सजायाफ्ता कैदी के साथ हर मुलाकात के दौरान कम से कम असिस्टेंट जेलर रैंक के अधिकारी की उपस्थिति अनिवार्य है। प्रतुल ने कहा की लालू प्रसाद से लोग बेधड़क मिल रहे हैं और राजनीतिक बातें भी हो रही हैं। कोई जेल का अधिकारी भी मौजूद नहीं रहता। रूल 634 स्पष्ट कहता है कि अगर कोई दी गई सुविधा का दुरुपयोग करे तो उससे यह सुविधा अविलंब वापस ली जा सकती है।