लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने शनिवार को नई दिल्ली में अपने निवास स्थान पर प्रेस वार्ता की। इस दौरान उन्होंने यह जानकारी दी कि नए संसद भवन का शिलान्यास 10 दिसम्बर 2020 को किया जाएगा। उन्होंने यह भी बताया कि प्रधान मंत्री नरेन्द्र मोदी ने नए संसद भवन के शिलान्यास करने का आग्रह स्वीकार किया है। उन्होंने कहा कि नए संसद भवन के निर्माण की आवश्यकता लंबे समय से महसूस की जा रही थी और अनेक सदस्यों ने आधुनिक सुविधाओं से सम्पन्न भवन की मांग की थी।

इसके अतिरिक्त उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान भवन में आधुनिक संचार व्यवस्था, सुरक्षा तथा भूकंप के लिए विनिर्दिष्ट दिशानिर्देशों के अनुपालन की सीमित संभावनाएं हैं। साथ ही उन्होंने ये जानकारी भी दी कि भावी आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए नए संसद भवन में लोक सभा कक्ष में कुल 888 सदस्यों और संयुक्त बैठकों के दौरान 1224 सदस्यों के बैठने की व्यवस्था होगी। इसी तरह राज्य सभा कक्ष में 384 सदस्य बैठ सकेंगे।

दोनों सभाओं के अनुरोध के बाद पीएम ने नए संसद भवन के प्रस्ताव को दी थी मंजूरी

लोक सभा अध्यक्ष ओम बिरला ने कहा कि पिछले साल दोनों सभाओं द्वारा किए गए अनुरोध के बाद प्रधान मंत्री ने नए संसद भवन के प्रस्ताव को मंजूरी दी। उन्होंने यह भी कहा कि 130 करोड़ देशवासियों के लिए यह गर्व की बात है कि स्वतंत्रता के बाद पहली बार पूरे देश के कारीगर और मूर्तिकार मिलकर नए संसद भवन का निर्माण करेंगे। भारत की सांस्कृतिक विविधता का परिचय देने वाला यह भवन आत्मनिर्भर भारत का प्रतीक होगा।

नया संसद भवन भारत के लोकतंत्र का स्मारक

लोकसभा अध्यक्ष ने कहा कि भारत का लोकतंत्र और हमारी संसद समय की कसौटी पर खरे उतरे हैं और पहले से कहीं अधिक सुदृढ़ और मजबूत हुए हैं। उन्होंने कहा कि नया संसद भवन भारत के लोकतन्त्र का स्मारक होगा जो न केवल हमारे गौरवशाली इतिहास बल्कि भारतवासियों की शक्ति, विविधता और उद्यमिता का प्रतीक होगा।

नया संसद भवन चार मंजिला होगा

परियोजना का ब्योरा देते हुए ओम बिरला ने बताया कि नया संसद भवन चार मंज़िल का होगा और इसे 971 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से 64500 वर्ग मीटर क्षेत्र में निर्मित किया जाएगा । उन्होंने यह भी कहा कि हमारी स्वतंत्रता की 75वीं वर्षगांठ पर संसद का सत्र नए संसद भवन में बुलाए जाने का प्रस्ताव है ।

प्रत्येक संसद सदस्य के लिए 40 वर्गमीटर के कार्यालय की व्यवस्था की जाएगी

बिरला ने यह जानकारी भी दी कि आने वाले समय में प्रत्येक संसद सदस्य के लिए 40 वर्ग मीटर के कार्यालय की व्यवस्था की जाएगी। इस कार्य को 2024 तक पूरा किए जाने का लक्ष्य है। उन्होंने यह भी कहा कि नए संसद भवन का डिजाइन अहमदाबाद के मैसर्स एचसीपी डिजाइन एंड मैनेजमेंट प्राइवेट लिमिटेड ने अगले 100 साल की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए तैयार किया है।

भूकंप से सुरक्षा के लिए पर्याप्त रक्षोपायों की व्यवस्था

उन्होंने यह भी बताया कि चूंकि नई दिल्ली और इसके आसपास के इलाके भूकंप क्षेत्र V में आते हैं, इसलिए नए भवन निर्धारित दिशानिर्देशों के अनुसार भूकंप से सुरक्षा के लिए पर्याप्त रक्षोपायों की व्यवस्था की जा रही है। नया भवन सभी आधुनिक दृश्य-श्रव्य (ऑडियो- विज़ुअल) संचार व्यवस्था और डाटा नेटवर्क प्रणाली से सुसज्जित होगा। पर्यावरण की सुरक्षा की ओर विशेष रूप से ध्यान दिया जा रहा है और निर्माण कार्य के दौरान संसद सत्रों में किसी प्रकार का व्यवधान नहीं होगा।

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