सपा सांसद आजम खां की मुश्किलें बढ़ती ही जा रही हैं। अब रामपुर के चर्चित डूंगरपुर प्रकरण में घरों में तोड़फोड़ करने के साथ ही भैंस-बकरी लूटने के मामलों में भी आजम खां का नाम शामिल कर लिया गया है। पुलिस विवेचना के बाद जल्द ही 11 मुकदमों में चार्जशीट दाखिल करने की तैयारी में है। सूबे में सत्ता परिवर्तन के बाद से ही आजम की घेराबंदी शुरू हो गई थी, लेकिन मुश्किलें थमने का नाम नहीं ले रही हैं।
पत्नी-बेटे के साथ सीतापुर जेल में धोखाधड़ी के आरोप में बंद आजम खां का नाम अब गंज कोतवाली के चर्चित डूंगरपुर कांड में शामिल हो गया है। आरोप है कि डूंगरपुर में जबरन घर खाली कराते वक्त वहां के वाशिंदों के घरों में लूट की गई थी। आरोपियों ने पीड़ितों के घर से कीमती सामान से लेकर भैंस-बकरियां भी लूट ली थीं। आरोप है कि यह सब आजम खां के कहने पर हुआ था। पुलिस ने डूंगरपुर प्रकरण में गिरफ्तार किए गए आरोपियों के बयानों के आधार पर विवेचना के बाद आजम खां का नाम मामले में शामिल कर लिया गया है।
रामपुर पुलिस अधीक्षक शगुन गौतम ने बताया कि डूंगरपुर प्रकरण से जुड़े 11 मुकदमों में आरोपियों के बयानों के आधार पर आजम खां नाम विवेचना में शामिल कर दिया गया है। साक्ष्य संकलन के बाद जल्द ही उनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल की जाएगी।
जब भैंस चोरी होने पर आजम खान ने सस्पेंड कर दिए थे तीन पुलिसकर्मी
सात साल पहले की बात है। उन दिनों यूपी में समाजवादी पार्टी की सरकार थी। सपा सरकार में आजम खान कैबिनेट मंत्री थे। इसी बीच आजम खान की सात भैंस गायब हो गईं। कैबिनेट मंत्री की भैंस चोरी होने की खबर से रामपुर से लेकर लखनऊ तक सरकारी अमले में खलबली मच गई। अफसर सारा कामकाज छोड़कर उनकी भैंस ढूंढने में लग गए। समय से पहले भैंस नहीं मिली तो कैबिनेट मंत्री आजम खान ने एक चौकी इंचार्ज और दो कांस्टेबल को सस्पेंड कर दिया। इनका कुसूर सिर्फ इतना ही था कि भैंस ढूंढने में देरी हुई। हालांकि बाद में एक-एक करके सातों भैंस को ढूंढ लिया गया था। आजम की भैंस चोरी की खबर जब राजनीतिक गलियारों में पहुंची तो लोगों ने चुटकियां लेनी शुरू कर दी। पूरा सोशल मीडिया आजम की भैंस चोरी को लेकर की गई टिप्पणियों से भर गया।