मध्यप्रदेश में पिछले कुछ दिनों से हो रही लगातार बारिश से कुछ क्षेत्रों में बाढ़ के हालात बन गए हैं। ग्वालियर चंबल संभाग में हालात ज्यादा गंभीर बने हुए हैं। मूसलाधार बारिश से खराब होते हालात को संभालने के लिए राज्य के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने खुद मोर्चा संभाल लिया है। सीएम चौहान ने बाढ़ की स्थिति को लेकर पीएम नरेंद्र मोदी से चर्चा की है। मौसम साफ होते ही सीएम बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों का हवाई दौरा करेंगे।
जानकारी के अनुसार, मंगलवार दोपहर को सीएम चौहान ने पीएम नरेंद्र मोदी से फोन पर विस्तृत चर्चा की। चौहान ने पीएम को राज्य के कुछ क्षेत्रों में आई बाढ़ की स्थिति से अवगत करवाया। साथ ही अभी तक हुए रेस्क्यू आपरेशन के बारे में जानकारी देते हुए बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों में मदद के लिए सेना की मांग की है। पीएम मोदी ने प्रदेश के लिए हरसंभव मदद का भरोसा दिया है।
सीएम शिवराज ने कहा ट्वीट कर कहा कि अतिवृष्टि के कारण मध्यप्रदेश के ग्वालियर-चम्बल क्षेत्र के 1,100 से अधिक गांव प्रभावित हैं। शिवपुरी और श्योपुर में दो दिन में ही 800 मिमी बारिश हो गई है। इस अप्रत्याशित बारिश से बाढ़ की स्थिति बनी है। मैं कल से बाढ़ ग्रस्त इलाकों के स्थानीय प्रशासन के साथ निरंतर संपर्क में हूं। कल से ही राहत और बचाव कार्य जारी है। कल ही एनडीआरफ और एयरफोर्स के बचाव दल को बुला लिया गया है। अब तक 1,600 लोगों को रेस्क्यू किया गया है। 200 गांव अभी घिरे हुए हैं, जहां बोट द्वारा बचावकार्य जारी है। मेरी सभी कलेक्टर एवं बचाव कार्यों से जुड़े अधिकारियों से चर्चा हुई है।
उन्होंने आगे कहा कि मणिखेड़ा डैम के 10 गेट खोले गए हैं। प्रभावित गांवों को पहले ही सतर्क कर दिया गया था। लोगों को ऊंचे स्थानों पर भेजकर सुरक्षित किया गया तथा राहत शिविर व भोजन की व्यवस्था की गई है। शिवपुरी कंट्रोल रूम से मंत्री साथी महेंद्र सिंह सिसौदिया और यशोधरा राजे सिंधिया भी नजर बनाए हुए हैं। हम सभी नागरिकों की चिंता कर रहे हैं। घबराने की ज़रूरत नहीं है। सरकार हर क्षण आपके साथ है। एयरफोर्स ऑपरेशन जल्द ही शुरू होगा। मैं भी जल्द बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों का दौरा करने जाऊंगा।
मुख्यमंत्री ने मंगलवार सुबह ही मंत्रालय में आपात बैठक बुलाई थी।। बैठक में स्टेट कंट्रोल एंड कमांड सेंटर से बाढ़ ग्रस्त क्षेत्रों के बारे में जानकारी ली। इस बैठक में गृहमंत्री नरोत्तम मिश्र, राजस्व मंत्री, सीएस डीजीपी, गृह विभाग, राजस्व विभाग के अधिकारी मौजूद थे।