पश्चिम बंगाल की सीएम और टीएमसी सुप्रीमो ममता बनर्जी ने पीएम नरेंद्र मोदी पर हमला बोलते हुए कहा कि बंगाल में एनआरसी लागू करने नहीं देंगे। फिर से कोविड बढ़ गया है। वह चुनाव आयोग से यह अनुरोध करती हैं कि चुनाव प्रचार के दौरान बाहर से आये लोगों पर रोक लगाए. जो यहां आयें। उनका कोविड टेस्ट किया जाए। पीएम नरेंद्र मोदी प्रचार के लिए आ सकते हैं, लेकिन जो लोग टेंट लगाने आते हैं। राजस्थान और उत्तर प्रदेश से आते हैं। उनका कोविड टेस्ट हो. पान मसाला खाकर दंगा करने वालों पर रोक लगाए।
बता दें कि नंदीग्राम में नामांकन दाखिल करने के दौरान जनसंपर्क के दौरान ममता बनर्जी के पैर में चोट लगी थी। इसकी वजह से वह अस्पताल में भर्ती थीं और फिलहाल व्हील चेयर पर चुनाव प्रचार कर रही हैं। ममता बनर्जी लगातार आरोप लगाते रही हैं कि वह चुनाव प्रचार नहीं कर सके। इस कारण जानबूझ कर उनका पैर तोड़ दिया गया।
बंगाल में एनआरसी करने नहीं देंगे
बनर्जी ने कहा कि 70 फीसदी पांव ठीक हो गया है। पैर के चोट के बावजूद मां-बहनों की अनुप्रेरणा के कारण वह काम कर पा रही हैं। मां-बहनें सब समय अपने परिवार के लिए काम करती रही हैं, लेकिन मां अपने लिए कुछ नहीं करती है, लेकिन नरेंद्र मोदी ने नोटबंदी के नाम पर महिलाओं से सब छीन लिया है। उन्होंने कहा कि टीएमसी को वोट देंगे, ताकि बंगाल बंगाल में रहे। यह बंगाल की भाषा, मतुआ की रक्षा करने का चुनाव है। यह चुनाव बंगाल को रक्षा करने की चुनाव है। यह चुनाव बंगाल की इज्जत की लड़ाई है। यह हमारे सम्मान की लड़ाई है। अमित शाह एनआरसी कर डिटेंशन कैंप में भेज देगा। हम यहां एनआरसी करने नहीं देंगे। बंगाल बंगाल में ही रहेगा। हम दिल्ली की बात पर नहीं चलेंगे। खेला होबे, देखा होबे.. जीता होबे.. बीजेपी गुंडाबाज और दंगाबाज को बंगाल से दूर कर देंगे।
बंगाल सरकार ने सभी धर्मों के लिए किया काम
ममता बनर्जी ने कहा कि उनकी सरकार ने सभी धर्मों के अनुयायी के लिए किया है। नवद्वीप शांति की जगह है। कन्याश्री दिया गया है. युवा श्री दिया गया है। स्वास्थ्य साथी कार्ड दिया गया है। इस कार्ड के तहत 5 लाख रुपये तक की चिकित्सा निःशुल्क होगी। 18 वर्ष से अधिक सभी विधवा को 1000 रुपये प्रति माह पेंशन दिया जा रहा है। राज्य सरकार ने जमीन का खाजना समाप्त कर दिया है। गैर संगठित क्षेत्र के श्रमिकों के लिए सामाजिक सुरक्षा योजनाएं शुरू की गयी है।