नयी दिल्ली। दिल्ली- वाराणसी हाई स्पीड ट्रेन चार घंटे में गंतव्य स्थल तक पहुंच जाएगी। इसके लिए बनने वाली ट्रैक का निर्माण तीन चरण में होगा। 2026 तक परियोजना पूरी हो जाएगी।
दिल्ली से वाराणसी के बीच हाई स्पीड ट्रेन चलाने की योजना है। इसका रूट यमुना एक्सप्रेस वे, लखनऊ आगरा एक्सप्रेस वे व गंगा एक्सप्रेस वे के साथ होगा। गौतमबुद्धनगर में हाई स्पीड ट्रेन के दो स्टेशन होंगे। पहला स्टेशन नोएडा सेक्टर-148 में तो दूसरा जेवर एयरपोर्ट पर।
सबसे बड़ी खासियत यह होगी कि दिल्ली से वाराणसी की दूरी महज चार घंटे में पूरी हो जाएगी। दिल्ली में सराय काले खां से शुरू होने वाली हाई स्पीड ट्रेन नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट तक मात्र 21 मिनट में पहुंचा देगी। जबकि दिल्ली से आगरा पहुंचने में ट्रेन को 54 मिनट लगेंगे। लखनऊ तक ढाई घंटे और वाराणसी तक चार घंटे में पहुंचा जा सकेगा। हर बीस मिनट में रूट पर हाई स्पीड ट्रेन की सुविधा मिलेगी।
दिल्ली से आगरा रूट 195 किमी का होगा, जबकि आगरा से लखनऊ 316 किमी, लखनऊ से प्रयागराज 185 किमी व प्रयागराज से वाराणसी 122 किमी होगा। रूट की कुल लंबाई 816 किमी होगी। पहले चरण में दिल्ली से आगरा, दूसरे में आगरा से लखनऊ व तीसरे में लखनऊ से वाराणसी तक काम होगा।
इस रूट में नोएडा, नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट, मथुरा, आगरा, कन्नौज, लखनऊ, राय बरेली, इटावा, प्रयागराज, भदोही स्टेशन होंगे। नेशनल हाई स्पीड रेल कारपोरेशन लिमिटेड परियोजना की विस्तृत रिपोर्ट तैयार करा रहा है। यमुना प्राधिकरण क्षेत्र में एयरपोर्ट स्टेशन होने की वजह से मास्टर प्लान मांगा गया है। प्राधिकरण अधिकारियों का कहना है कि मास्टर प्लान की जानकारी जल्द कॉरपोरेशन को उपलब्ध कराई जाएगी।