महान भारतीय बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर कोरोना संक्रमण से उबर चुके हैं। पिछले महीने इस वायरस की चपेट में आने वाले तेंदुलकर आज अपना 48वां जन्मदिन मना रहे हैं और इस मौके पर उन्होंने कहा है कि वह जल्द ही अपना प्लाज्मा दान करेंगे ताकि कोरोना से जूझ रहे देश के लिए कुछ मदद हो सके। तेंदुलकर ने अपने जन्मदिन पर एक वीडियो के जरिए ये बात कही और साथ ही देशवासियों को भी संदेश दिया कि अगर संभव हो तो वो भी बीमारी से उबरने के बाद प्लाज्मा दान करें। सचिन ने साथ ही जन्मदिन की शुभकामनाओं के लिए सबका धन्यवाद दिया।
पूर्व भारतीय कप्तान तेंदुलकर पिछले महीने 27 मार्च को कोरोना से संक्रमित हो गए थे। इसके बाद उन्हें 2 अप्रैल को एहतियातन अस्पताल में भर्ती कराया गया था। मुंबई के अस्पताल में एक सप्ताह तक डॉक्टरों की निगरानी में अपना इलाज कराने के बाद उन्हें 8 अप्रैल को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई थी। इसके बाद से ही सचिन लगातार अपने घर में आराम कर रहे हैं और बीमारी से पूरी तरह उबर रहे हैं।
डॉक्टरों की सलाह से करेंगे प्लाज्मा दान
शनिवार 24 अप्रैल को जन्मदिन के मौके पर सचिन को देश और दुनियाभर से शुभकामनाएं मिलीं। सचिन ने इस मौके पर लोगों का धन्यवाद दिया और साथ ही उनका इलाज करने वाले डॉक्टरों की तरफ से एक संदेश भी दिया। सचिन ने ट्विटर पर पोस्ट किए वीडियो में कहा,
“मैं एक संदेश देना चाहूंगा, जिसे डॉक्टरों ने मुझे देने के लिये कहा है। मैंने पिछले साल एक प्लाज्मा दान केंद्र का उद्घाटन किया था और उनका संदेश था, यदि सही समय पर प्लाज्मा दिया जाता है तो रोगी जल्दी ठीक हो सकता है। मैं निजी तौर पर जब योग्य हो जाउंगा, तब प्लाज्मा दान करूंगा और मैंने अपने डॉक्टरों से बात की है।”
देशवासियों के नाम अपील
तेंदुलकर ने साथ ही कोरोना संक्रमण से उबर रहे देश के बाकी लोगों से भी अपील करते हुए कहा कि अगर वे इसमें सक्षम हैं, तो उन्हें भी इस काम के लिए आगे आना चाहिए। मास्टर ब्लास्टर ने कहा, “आप जो भी कोविड-19 से उबर गये हैं, अपने डॉक्टर से मशविरा करें और जब आप योग्य बन जाएंगे कृपया प्लाज्मा दान करें। इससे काफी समस्या का निदान हो सकता है। हम जानते हैं कि जब तक हम बीमार रहते हैं तब तक हमारे परिजनों, दोस्तों को कितनी समस्याओं का सामना करना पड़ता है।”
देश में इस वक्त कोरोनावायरस संक्रमण की स्थिति लगातार खराब हो रही है। शुक्रवार के दिन देशभर से 3 लाख 46 हजार से भी ज्यादा संक्रमण के मामले सामने आए, जो नया रिकॉर्ड है। वहीं 2624 लोगों की इससे मौत हुई। देश में अभी भी 25 लाख से ज्यादा सक्रिय मामले हैं।