एसएचओ ने मुझे मानसिक संतुलन खो देने वाला बता दिया
सिगरा के संत रघुवरदास नगर कॉलोनी में 21 जुलाई को कैंसर रोग विशेषज्ञ डॉ. सपना दत्ता की हत्या के मामले में सिगरा पुलिस की जांच पर वादी पति डॉ. अंजनी कुमार दत्ता ने कडी आपत्ति जताते हुए कहा कि एसएचओ ने मेरे बयान के साथ न सिर्फ छेडछाड की बल्कि यहां तक चार्जशीट में कह दिया कि मेरा मानसिक संतुलन बिगड चुका है।
उन्होने आरोप लगाया कि पुलिस जानबूझकर नामजद दो भाइयों आशीष कुमार दत्ता व अमित कुमार को बचा रही है। जबकि वे भी साजिश में शामिल थे। पराड़कर भवन में पत्राकार वार्ता में पूरे प्रकरण और सिगरा पुलिस की भूमिका की जांच सीबीसीआईडी से कराने की मांग की। बताया कि इसकी शिकायत पुलिस कमिश्नर ए सतीश गणेश से भी की गई है।
15 मई को डा सपना दत्ता ने पत्र द्वारा पुलिस- प्रशासन से अपनी हत्या की आशंका जताई दी थी
डॉ. अंजनी कुमार दत्ता ने बताया कि पैतृक संपत्ति का विवाद बड़े भाई डॉ. अश्वनी कुमार दत्ता के कोरोना से निधन के बाद शुरू हुआ। बताया कि उनके हिस्से की संपत्ति हथियाने के लिए पिता व भाई प्रताड़ित करने लगे। डायग्नोस्टिक सेंटर में अड़चने डाली जाने लगी थीं। डॉ. सपना दत्ता के सामान स्टोर रूम में रखवा दिये गये थे। डॉ. सपना को खुद और परिवार के सदस्यों के साथ अनहोनी की आशंका थी। इसीलिए 15 मई को सिगरा पुलिस से की गई शिकायत में डॉ. आशीष कुमार दत्ता, अमित कुमार दत्ता और अनिल कुमार दत्ता का जिक्र किया।
डॉ. अंजनी कुमार दत्ता ने बताया कि 21 जुलाई के दिन हत्या के दो दिन पहले 19 जुलाई को डॉ. आशीष कुमार दत्ता और अमित कुमार दत्ता ने मारपीट की थी। इसकी शिकायत सिगरा पुलिस से की गई। मुकदमा दर्ज नहीं किया गया। पत्नी की हत्या में अनिल कुमार दत्ता ने नौकर के साथ मिलकर कर दी। पिता, तीनों भाइयों पर नामजद केस दर्ज हुआ। वादी के रूप में सिगरा पुलिस ने उनका बयान लिया। बयान में उन्होंने 19 जुलाई की घटना को भी दर्ज कराया। हत्या में आशीष और अमित के शामिल होने की बात कही। बावजूद पुलिस ने दोनों का नाम चार्जशीट से निकाल दिया।
बता दें कि डॉ. सपना की हत्या उन्हीं के सगे देवर अनिल कुमार दत्ता ने नौकर रौशन चौधरी के साथ मिलकर की थी। पति डॉ. अंजनी कुमार दत्ता की तहरीर पर सिगरा पुलिस ने उसी दिन अनिल समेत पिता पूर्व विधायक डॉ. रजनीकांत दत्ता, अन्य दो भाई डॉ. आशीष कुमार और अमित कुमार के खिलाफ नामजद मुकदमा दर्ज किया था।