नई दिल्ली। रेल यात्रियों के सफर को ज्यादा आरामदायक बनाने के लिए रेलवे ने बोगियों की साइड लोअर बर्थ के डिजाइन में बड़ा बदलाव किया है। अक्सर देखा गया है कि साइड लोअर बर्थ में सफर करने वाले यात्रियों की शिकायत रहती है कि उन्हें सोने में परेशानी का सामना करना पड़ता है।दोनों सीटों के बीच गैप की वजह से यात्रियों की पीठ में दर्द की शिकायत रहती है।
मीडिया में इस नए डिजाइन को लेकर तमाम रिपोर्ट आईं हैं, कुछ दिन पहले ही पर एक वीडियो भी काफी वायरल हुआ था। जिसमें एक अधिकारी नई लोअर साइड बर्थ की खूबियों बारे में बताता हुआ दिख रहा है। इस वीडियो को अब रेल मंत्री पीयूष गोयल ने भी किया है। दरअसल, ट्रेनों में लोअर साइड बर्थ पर बैठने के लिए होता है। जब किसी यात्री को सोना होता है तो वो सीट को जोड़ देता है, लेकिन बीच में गैप होने की वजह से यात्री को सोने में काफी तकलीफ होती है।
यात्रियों के सुविधाजनक सफर के लिए प्रयासरत भारतीय रेल, इसी का उदाहरण है सीटों में किये गये कुछ बदलाव, जिनसे यात्रियों का सफर हुआ और अधिक आरामदायक। pic.twitter.com/Q4rbXXYd7f
— Piyush Goyal Office (@PiyushGoyalOffc) December 11, 2020
अब यात्रियों की कमर नहीं करेगी दर्द
नए डिजाइन तो रहेगा लेकिन अलग से एक सीट दी गई है, जो विंडो की तरफ होती है। जब यात्री को सोना होगा तो वो उसे खींचकर ऊपर कर लेगा, जिससे दोनों सीटों के बीच का गैप ढंक जाएगा।सइस नए डिजाइन से यात्री को बीच के गैप की वजह से कोई परेशानी नहीं होगी और लंबी यात्रा के दौरान सोते वक्त उनकी पीठ में दर्द भी नहीं होगा।
ट्रेन कोच अपग्रेड कर रहा रेलवे
कुछ महीने पहले ये खबर आई थी कि रेलवे नॉन-एसी स्लीपर और जनरल क्लास कोच को अपग्रेड करने की योजना बना रहा है। इसी सिलसिले में भारतीय रेलवे अनारक्षित जनरल क्लास कोच और 3-टियर नॉन एसी स्लीपर क्लास कोच को एसी कोच में री-डिजाइन कर रहा है। रेलवे के इस कदम से यात्रियों को सस्ते में एसी ट्रेनों में सफर करने का मौका मिलेगा।
किफायती AC-3 क्लास की तैयारी
एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक अपग्रेडेड कोच, जिसे एक किफायती एसी 3-टियर क्लास के जैसा होगा, उसे एसी-3 टियर टूरिस्ट क्लास कहा जाएगा। पहले चरण में 230 कोच तैयार किए जाएंगे। हर कोच को बनाने में करीब 2.8 करोड़ से 3 करोड़ की लागत आएगी. जो एसी-3 क्लास कोच को बनाने में आने वाली लागत से करीब 10 परसेंट ज्यादा है। शुरुआती डिजाइन में हर एक कोच में 105 सीटें रखने की योजना है।