देश में कोरोना के मरीजों की संख्या 88 लाख के पार पहुंच गई है। पिछले 24 घंटों में कोरोना के 41 हजार 447 नए मामले सामने आए हैं। इसके साथ कोरोना के मरीजों की संख्या बढ़कर 88,14,579 पर पहुंच गई है। पिछले 24 घंटों में 447 लोगों की मौत हो गई। साथ ही इस बीमारी से मरने वालों की संख्या 1,29,635 तक पहुंच गई है।
देश में एक्टिव मरीजों की संख्या
केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा रविवार को जारी आंकड़ों के मुताबिक देश में 4,79,216 एक्टिव मरीज हैं। वहीं राहत भरी खबर यह है कि कोरोना से अबतक 82,05,728 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। देश का रिकवरी रेट बढ़कर 93.09 प्रतिशत हो गया है।
पिछले 24 घंटे में 08 लाख से अधिक किए गए टेस्ट
देश में पिछले 24 घंटे में 08 लाख से अधिक टेस्ट किए गए। आईसीएमआर के मुताबिक 14 नवंबर को 08,05,589 टेस्ट किए गए। देश में अबतक कुल 12,48,36,819 टेस्ट किए जा चुके हैं।
बीते कुछ दिनों से देश में रोजाना सामने आ रहे हैं 45-50 हजार नए केस
स्वस्थ्य मंत्रालय के डाटा को अगर देखें तो. पिछले कुछ दिनों से देश में कुल केस प्रतिदिन 45-50 हजार पर बने हुए हैं। लेकिन त्योहार के कारण जो भीड़-भाड़ है हो रही हो , उसका असर कुछ 10-15 दिनों के बाद ही देखने को मिलेगा, क्योंकि कोरोना का इंक्यूबेशन ही कम से कम 3-5 दिन का है और उसके बाद जांच के बाद पता चलेगा कि आखिर इस भीड़ का कोरोना पर कितना असर हुआ है।
प्रदूषण बढ़ता है तो कोरोना की इंफेक्ट करने की क्षमता बढ़ती है
जानकारों का कहना है कि जैसे-जैसे प्रदूषण बढ़ता है कोरोना की इंफेक्ट करने की क्षमता बढ़ती है। प्रदूषण से एक धुंध छा जाती है, वायु में प्रदूषण के कण मिलकर ऊपर नहीं उठ पाते हैं, जिससे प्रदूषित हवा नीचे ही घूमती रहती है। इसमें जब कोरोना के वायरस बाहर अगर हैं तो वो भी हवा के साथ मिल कर लोगों को संक्रमित करेंगे। अगर प्रदूषण नहीं होता है तो ताजी हवा वायरस के कण को उड़ा देती है या हवा में मिल कर वायरस उपर उठ जाते हैं और लोगों तक संक्रमण नहीं पहुंच पातें हैं।