नगर प्रतिनिधि

वाराणसी के कैंट रेलवे स्टेशन की दरों दीवार आज भी 7 मार्च 2006 के उस खौफनाक मंजर की गवाह है। यात्री हाल में आज ही के दिन सीरियल बम विस्फोट में 11 मौतें हुई थीं और 20 यात्री गंभीर रूप से घायल हुए थे। कैंट स्टेशन के उस मंजर का स्मरण मात्र से ही रौंगटे खड़े हो जाते हैं।

कैंट स्टेशन के ठीक सामने होटल संचालक अजय प्रताप बॉबी बताते हैं कि उस मंजर को याद कर आज भी शरीर हिल जाता है। धमाकों की वह गूंज और खून से लथपथ, तड़पते यात्रियों की चीख पुकार आज भी नहीं भूलती है। दशक भर से ज्यादा समय हो गया लेकिन जो खौफनाक मंजर स्टेशन का देखा गया था वह आज भी जेहन में तरोताजा है। तब से और अब में स्टेशन पर बहुत बदलाव हुए। कैंट स्टेशन के सामने के व्यापारी शंभूनाथ अग्रहरि बताते हैं कि वह मंजर भुलाए नहीं भूलता।

संकट मोचन मंदिर पर भी हुआ था धमाका, गई थीं 7 जानें
आतंकियों ने आज ही के दिन 7 मार्च 2006 को संकट मोचन मंदिर पर भी बम विस्फोट किया था। इस वारदात में 7 लोगों की जान चली गई थी और कई घायल हुए थे। तब से संकट मोचन मंदिर की सुरक्षा व्यवस्था चौक चौबंद रखी जा रही है। बगैर सुरक्षा जांच के कोई भी मंदिर परिसर में प्रवेश नहीं ले सकता है

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