इन दिनों दुनिया भर के वैज्ञानिक कोरोना से बचाव के उपाय ढूढंने में लगे हुए हैं। कोरोना के कारण लंबे समय से लॉकडाउन भी लगा हुआ है। जिसकी वजह से गलियों से लेकर चमचमाती रोड तक सुनसान पड़ी है।

इस बीच एक अध्ययन ने दावा किया है कि यदि भारत में रेड लाइट एरिया यानी वेश्यालयों को बंद कर दिया जाए तो कोरोना वायरस के मामले में तेजी से कमी दर्ज की जा सकती है। इस बाबत अमेरिका के येल स्कूल ऑफ मेडिसिन के शोधकर्ताओं ने भारत सरकार से रेड लाइट एरिया को बंद करने की सिफारिश भी की है।

येल और हार्वर्ड यूनिवर्सिटी की स्टडी में यह बात सामने आई है कि भारत के सारे रेड लाइट ऐरिया बंद कर दिए जाएं तो कोरोना पोजिटिव होने के 72 फीसदी मामले कम हो सकते हैं। नेको के अनुसार भारत में तकरीबन 6,37,500 सेक्स वर्कर्स हैं और पांच लाख ग्राहक रोज उनके पास जाते हैं। इस तरह भारत के रेड लाइट कोरोना फैलाने के सबसे बड़े केन्द्र बन सकते हैं।

रेड लाइट एरिया बंद करने से अध्ययन के अनुसार 72 फीसदी मामलों में कमी आएगी, सेक्स वर्कर्स कोरोना से सुरक्षित होंगी और सबसे महत्चपूर्ण बात ये है कि इन्फेक्शन पीक को टालने के लिए भारत को 17 दिन और मिल जाएंगे। इसके कारण कोरोना से मरने वालों की संख्या में दो महीनों 60 फीसदी तक की कमी आएगी।

वेज्ञानिकों ने यह भी खुलासा किया है कि इससे मृत्यु दर में भी 63 फीसदी तक कमी की जा सकती है। उन्होंने कहा कि जब तक कोरोना से लड़ने के लिये वैक्सीन नहीं आ जाती है तब तक ऐसे तमाम तरह के एहतियाती कदम उठाये जा सकते है। जिससे वायरस के खतरे को कम किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि देश की जनता और इकॉनोमी को गिरने से रोकने के लिये कोरोना वायरस के प्रभाव को कम करना बेहद जरुरी है।

मुम्बई, पुणे, नागपुर, दिल्ली और कोलकाता में किए गए अध्ययन के आधार पर इस निष्कर्ष पर पहुंचा गया है।

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