अस्पताल में कोरोना संक्रमण से जान गंवाने वालों के मुर्दा शरीर की जो दुर्दशा हो रही है वो वाकई कम वेदनादायी नहीं चाहे शव पूजाघर में पडे हो या उनको जानवरों की तरह घसीटा जा रहा हो। और तो और हालत यह कि मृतकों का सामान भी गायब किया जा रहा है । अपनों को खोने के गम से दुखी परिजन उस व्यक्ति से जुड़े सामान से भी दूर हो रहे हैं। ऐसी कई शिकायतें मिलने के बाद लोकनायक अस्पताल प्रशासन की ओर से वार्ड में तैनात नर्सिंग अधिकारी को इस संबंध में जिम्मेदारी सौंपी गई है।

अस्पताल सूत्रों ने बताया कि कोरोना संक्रमण के चलते जान गंवाने वाले कई मरीजों के परिजन उनका सामान लेने पहुंच रहे हैं, लेकिन उन्हें मृतक परिजन का सामान नहीं मिल रहा है। परिजनों को खोने के दर्द और कोरोना के डर के चलते कई लोग बिना सामान लिए वापस लौट रहे हैं। लेकिन अनेक लोग ऐसे हैं, जिन्होंने अस्पताल प्रशासन को सामान गायब होने की शिकायत दी है। लगातार वार्ड से सामान न मिलने पर अस्पताल प्रशासन ने गंभीर रूख अपनाया है।

 अस्पताल प्रशासन के आदेश के मुताबिक अब जहां-जहां कोरोना संक्रमित मरीजों का उपचार किया जा रहा है। उस वार्ड के नर्सिंग अधिकारी को मरीज की मौत के तुरंत बाद उसका सारा सामान सेनेटाइज कर एक पैकेट बनाना होगा।

पैकेट पर सारी जानकारी होगी: पैकेट पर मरीज का नाम, पता और नंबर भी लिखना होगा। पैकेट बनाने के बाद अस्पताल में मौजूद सुरक्षा अधिकारी को देना होगा। यह सुरक्षा अधिकारी मृतकों के सामान की सुरक्षा करेंगे साथ ही उनका पूरा रिकॉर्ड भी रखेंगे, जिससे अगर किसी के परिजन सामान लेने के लिए आते हैं, तो सुरक्षा अधिकारी उनका सामान उन्हें दे सकें। अगर किसी का सामान रह जाता है तो सुरक्षा अधिकारी उनसे संपर्क करेंगे और उन्हें सामान ले जाने के लिए बोला जाएगा।

नर्सिंग अधिकारी की जिम्मेदारी: अगर इस व्यवस्था के अंतर्गत कोरोना से मरने वाला का सामान गायब हो जाता है जो उसकी जिम्मेदारी वार्ड में मौजूद नर्सिंग अधिकारी की होगी। लगातार मिल रही शिकायतों के बाद यह व्यवस्था बनाई गई है।

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