विशेष संवाददाता
तबलीगी जमात अपने अनुयायियों के दिमाग में कट्टदरपन और भारत विरोधी जहर किस कदर घोलता है यह देश क्वारंटाइन Qarantine मे रखे जा रहे जमातियो की शर्मनाक और बेहूदी हरकतें हर दिन देख रहा है और देख रहा है उनको मस्जिदों में छिपाने वाले समर्थकों को भी कि वे कितने जाहिल और अनपढ़ हैं कि कोरोना वायरस से वे खुद ही नहीं न जाने कितनों को खतरे मे डाल रहें हैं।
सोचा जा रहा था कि थूकने, मूतने, हगने जैसे शर्मसार करने वाले कुकर्मी अनपढ़ और मदरसों से निकलने वाले गंवार होंगे। लेकिन नहीं, उनके मरकज में शिरकत करने वाले तथा कथित बुद्धिजीवी और प्रोफेसर स्तर के भी लोग शामिल हैं।
ताजा वाकया इलाहाबाद विश्वविद्यालय (इविवि) के Professor Mohammed Shaahid प्रोफेसर मोहम्मद शाहिद का है। ये जनाब दिल्ली के निजामुद्दीन तबलीगी जमात के जलसे में न सिर्फ शामिल हुए थे बल्कि यह बात उन्होंने काफी दिनो तक छिपाए भी रखी। जनाब इतने विद्वान भी हैं कि मरकज से लौटने के बाद उन्होने सैकड़ो छात्रों को भी खतरे में डाल दिया।
इतना ही नहीं एक बार उन्होंने पुलिस प्रशासन को गुमराह भी कर दिया था। पुख्ता सुबूत हाथ लगने के बाद बुधवार रात पुलिस उनके घर पहुंची और पूछताछ के बाद उन्हें करेली के Mehbooba guest house महबूबा गेस्ट हाउस में quarantine क्वारंटाइटन कर दिया। विवि के Registrar रजिस्ट्रार डॉ एनके शुक्ला ने बताया कि ऐसी हरकत करने वाले political science department राजनीति शास्त्र विभाग के प्रोफेसर मोहम्मद शाहिद का promotion प्रमोशन नहीं होने देगा। उनकी प्रमोशन की फाइल में FIR एफआइआर की copy भी संलग्न की जाएगी ताकि ऐसे प्रोफेसर का प्रमोशन न होने पाए, जिसने तबलीगी जमात में शामिल होने की बात छिपाते हुए सैकड़ों छात्रों, शिक्षकों और कर्मचारियों की जान से खिलवाड किया हो। प्रोफेसर मोहम्मद शाहिद के बडे़ भाई वाणिज्य विभाग में प्रोफेसर हैं।
जमात से लौटने के बाद परीक्षा कराने में भी रहे शामिल
प्रोफेसर शिवकुटी थाना क्षेत्र के एक मुहल्ले में रहते हैं। SP City Brijesh एसपी सिटी बृजेश श्रीवास्तव ने बताया कि प्रोफसर छह से दस मार्च तक दिल्ली के तबलीगी जमात के मरकज में शामिल हुए थे। इसके बाद प्रयागराज लौटे। यहां आने पर विश्वविद्यालय में 12 व 16 मार्च को आयोजित परीक्षा में शामिल हुए। दोनों परीक्षाओं में कुल 144 परीक्षार्थी थे। राजनीति विभाग का स्टाफ, परीक्षा से जुड़े व दूसरे विभाग के भी कई प्रोफेसर उनके संपर्क में आए थे जिनकी तलाश शुरू हो गई है।
पहले पूछताछ में प्रोफेसर ने जमात में शामिल होने से किया था इनकार
एसपी सिटी ने यह भी बताया कि प्रोफेसर से पहले भी कई बार पूछताछ हुई थी, लेकिन उन्होंने जमात में शिरकत करने की बात कबूल नहीं की। बुधवार रात कुछ साक्ष्य मिले तो उनसे दोबारा पूछताछ की गई और तब जाकर पूरी जानकारी मिली। उन्हें क्वारंटाइन कर दिया गया है और परिवार के सदस्यों को भी क्वारंटाइन किया जाएगा। प्रोफेसर के खिलाफ महामारी एक्ट के तहत मुकदमा दर्ज हो गया है।