उत्तर प्रदेश में कोरोना संक्रमण को रोकने में जुटे पुलिस व प्रशासन के लिए जमाती बड़ी मुसीबत बने हुए हैं। अब तक लखनऊ में रहे 200 से अधिक जमाती अचानक गायब हो गए हैं। सबके मोबाइल स्विच ऑफ तो हैं। इन जमातियों के सम्पर्क में रहे करीब 300 लोगों ने भी अपने मोबाइल ऑफ कर लिए हैं। क्राइम ब्रांच अब कुछ नए नम्बरों को सर्विलांस पर लेकर इनके बारे में ब्योरा जुटा रही है। कैसरबाग, सदर, वजीरगंज, मड़ियांव, सआदतगंज, गोमतीनगर समेत कई अन्य इलाकों में रहने इन जमातियों में अधिकतर दिल्ली की जमात में शामिल हुए थे।
काकोरी, गोमतीनगर और कैसरबाग की मस्जिदों में 24 विदेशी नागरिक मिले थे। ये सभी लखनऊ से बाहर के थे और दिल्ली की जमात में शामिल होकर यहां आ गए थे। इनके पकड़ में आने के बाद जमातियों का पता लगाने के लिये 700 से ज्यादा मोबाइल नम्बर सर्विलांस पर लिये गए थे। सर्विलांस से ही कई जमातियों के बारे में पता लगा था, फिर कई मस्जिदों व मदरसों में छापे मारकर जमातियों को क्वारंटीन कराया गया था। इनमें एक के बाद एक कई जमाती कोरोना संक्रमित निकले। फिर पुलिस कमिश्नर सुजीत पाण्डेय ने क्राइम ब्रांच की टीम को जमातियों व सम्पर्कियों का ब्योरा जुटाने को कहा।
तीन दिन में 200 नम्बर बंद
क्राइम ब्रांच के साथ ही एसटीएफ की सर्विलांस टीम भी जमातियों पर नजर रखने लगी। कॉल डिटेल के आधार पर पुलिस ने जमाती व परिवारीजनों से पूछताछ शुरू की। कई जमातियों ने लोकेशन को लेकर झूठ भी बोला। पुलिस ने उनकी लोकेशन बताकर सच बोलने को कहा तो भी कई जमातियों ने सही जवाब नहीं दिये। पुलिस ने क्वारंटीन किये जमातियों के परिवारीजनों से भी कई सवाल किये कि ये कब दिल्ली गए थे। लौटने के बाद कितने लोगों के सम्पर्क में रहे। पुलिस की पूछताछ बढ़ने लगी तो क्वारंटीन किये जाने के डर से तीन दिन में 200 से ज्यादा नम्बर अब बंद हो गए।
नये मोबाइल का इस्तेमाल करने लगे
सर्विलांस से ही पुलिस को पता चला कि कई जमाती व इनके सम्पर्क में आने वालों ने मोबाइल बदल लिया और उसमें किसी दूसरे का सिम लेकर डाल लिया। यह भी सामने आ रहा है कि कुछ लोगों ने पुराने लखनऊ में परिचितों की दुकान से नए मोबाइल ले लिये है। पुलिस इसकी भी पड़ताल कर रही है।
इन स्थानों के सबसे ज्यादा नम्बर सर्विलांस पर
सदर बाजार, कसाईबाड़ा, फूलबाग, नजरबाग, वजीरगंज, चौक, सआदतगंज, मड़ियांव आईआईएम रोड, अमीनाबाद, खदरा
दिल्ली में भर्ती जमातियों के करीबियों पर भी नजर
पुलिस कमिश्नर सुजीत पाण्डेय ने बताया कि जमातियों का पूरा ब्योरा आ गया है। कुछ ब्योरा और मिलना बाकी है। दिल्ली में हुई जमात में शामिल होने गए लखनऊ के 18 लोग अभी वहीं क्वारंटीन है। टीम परिवारीजनों के सम्पर्क में है। यह मानीटरिंग लगातार हो रही है कि दिल्ली से कोई जमाती यहां आ तो नहीं गया है।