वाराणसी | बीएचयू में जिस मरीज को गलत ग्रुप का प्लाज्मा चढ़ाया गया था आखिरकार उसकी मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि उनके मरीज की मौत सुबह ही हो गई थी। रात में जब रिश्तेदार चले गए तो अस्पताल में लोग कम हो गए, इसके बाद दबाव बनाकर लाश को हैंडओवर कर दिया गया। इसके बाद रविवार दोपहर में पोस्टमार्टम शुरू किया गया।
डॉक्टर्स पर गुमराह करने का आरोप
वहीं आईसीयू के डॉक्टरों ने रात में दोबारा परिजनों को बताया कि अभी मरीज की मौत नहीं हुई है। वेंटिलेटर पर हैं, हालत बेहद नाजुक है किसी भी समय दम तोड़ सकते हैं। इसके पहले आईसीयू के डॉक्टरों ने कहा था कि रमेश सिंह की मौत हो गई है, ऐसे में परिजनों ने शव लेने से इन्कार कर दिया था। बीएचयू अस्पताल प्रशासन की ओर से मौत और जिंदा होने की गफलत का खामियाजा परिजन भुगतते और भटकते नजर आए।
आनन-फानन में जांच कमेटी का गठन
बीएचयू के सर सुंदरलाल अस्पताल में एक बड़ी लापरवाही सामने आई है, जिससे दो मरीजों की जान खतरे में पड़ गई है। अस्पताल प्रबंधन तक बात पहुंचने पर आनन-फानन जांच कमेटी गठित कर दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई का भरोसा दिया गया।
बीएचयू हॉस्पिटल की ज़बरदस्त लापरवाही
अस्पताल की आइसीयू में भर्ती पिंडरा स्थित मंगारी गांव के एक 65 वर्षीय मरीज रमेश सिंह को दूसरे समूह का प्लाज्मा चढ़ा दिया गया, जबकि उन्हें प्लाज्मा की जरूरत थी ही नहीं। एक बैग प्लाज्मा चढ़ जाने के बाद दूसरा बैग भी लगा दिया गया, इतने में मरीज अचानक छटपटाने लगा। यह देख आइसीयू के डाक्टरों ने तत्काल मरीज के परिजन को बोला, ‘आपका मरीज बदतमीजी कर रहा है।’ उधर जब परिजन अंदर पहुंचे तो देखा कि उन्हें ‘ए’ ब्लड ग्रुप का प्लाज्मा चढ़ाया जा रहा है, जबकि मरीज का ब्लड ग्रुप ‘ओ’ पॉजिटिव है। वहीं, प्लाज्मा उनसे तो मंगाया ही नहीं गया। परिजन ने पैरा मेडिकल स्टाफ से जब इस लापरवाही की वजह पूछी तो सभी जिम्मेदारी लेने से बचते-कतराते नजर आए।
ज़रूरत किसी और को थी चढ़ाया किसी और को
दरअसल, आइसीयू में बेड संख्या 13 वाले मरीज देवेंद्र को ‘ए’ पॉजिटिव ग्रुप के प्लाज्मा की जरूरत थी, मगर बेड संख्या चार पर भर्ती मरीज को गलती से चढ़ा दिया गया। स्वजन के अनुसार मरीज बिल्कुल ठीक हालत में थे और उन्हें आइसीयू से निकालकर सामान्य वार्ड में भर्ती करना था। इसके बाद परिजन ने चिकित्सा अधीक्षक प्रो. एसके माथुर से इसकी शिकायत की। मरीज की हालत बिगड़ते देख मामला तूल पकडऩे लगा तो अस्पताल में इसका जायजा लेने पहुंचे पिंडरा विधायक अवधेश सिंह और लंका पुलिस ने इस लापरवाही के लिए जिम्मेदार दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की बात कही।
क्या बोले अधिकारी ?
सर सुंदरलाल के चिकित्सा अधीक्षक प्रोफेसर एसके माथुर ने बताया कि मामले की जानकारी होते ही जांच कमेटी गठित कर दी गई है। 72 घंटे में जांच रिपोर्ट मांगी गई है। रिपोर्ट आने के बाद दोषी पाए जाने पर संबंधित के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।