बीजिंग। ताइवान के नेशनल डे यानी राष्ट्रीय दिवस पर पर भारतीयों के जमकर बधाई संदेशों से जहां ताइवान के चेहरे पर मुस्कान आई, वहीं चीन का चेहरा गुस्से से तिलमिला गया। उसने बयान जारी कर कहा कि ऐसी सभी कोशिशें बेकार साबित होंगी। पिछले साल भी ताइवान को अपने राष्ट्रीय दिवस के मौके पर भारत के लोगों से बधाई संदेश मिले थे और चीन इसी तरह गुस्से से भर उठा था।

दिल्ली में चीनी दूतावास के प्रवक्ता वांग जिआओजियान ने ट्वीट कर ताइवान को भारत से मिले बधाई संदेशों पर नाराजगी जताई है। उन्होंने लिखा , ‘हाल ही में, भारत में कुछ मीडिया और व्यक्तियों ने ताइवान स्वतंत्रता के लिए मंच प्रदान किया या समर्थन किया। इन लोगों ने ‘दो चीन’ या एक चीन, एक ताइवान’ की वकालत की। यह खुले तौर पर एक-चीन सिद्धांत का उल्लंघन है। हम इसका पुरजोर विरोध करते हैं। इस तरह की सभी कोशिशें बेकार साबित होंगी

विस्तारवादी चीन और ताइवान के बीच लंबे समय से तनाव चल रहा है। ताइवान के समर्थन में उठने वाली हर आवाज को चीन अपना विरोधी समझ लेता है। उसने पिछले साल भारत से ताइवानी स्वतंत्रता दिवस न मनाने का आग्रह किया था कम्युनिस्ट सरकार ने कहा था कि यह चीन का अभिन्न हिस्सा है। अगर भारत में ताइवान का राष्ट्रीय दिवस मनाया जाता है, तो इससे चीन के साथ संबंधों पर असर पड़ेगा। बता दें कि ताइवान का नेशनल डे 10 अक्टूबर को मनाया जाता है।

चीन ताइवान को अपना अभिन्न अंग मानता है। उसकी कोशिश है कि ताइवान उसके कहे अनुसार चले, लेकिन ताइवान की सरकार चीन के आगे झुकने को तैयार नहीं है। हाल ही में दोनों देशों के बीच तनाव और बढ़ गया है। क्योंकि चीन ने कई बार ताइवान की हवाई सीमा में घुसपैठ की है। ताइवान को अमेरिका का समर्थन प्राप्त है। ऐसी खबरें भी आईं हैं कि अमेरिकी सेना ताइवान सेना को प्रशिक्षित कर रही है, ताकि युद्ध की स्थिति में बीजिंग को मुंहतोड़ जवाब दिया जा सके।

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