न्यायमूर्ति रेखा पल्ली के समक्ष यह याचिका कानून की छात्रा मुस्कान मल्होत्रा ने दायर की है। याचिका में दिल्ली सरकार को कीर्ति नगर से जखीरा तक की सड़क पर नो पार्किंग साइनबोर्ड लगाने का निर्देश देने की भी मांग की गई है। अदालत ने मामले की सुनवाई 31 मार्च तय की है।
याचिकाकर्ता के अनुसार उपरोक्त अनधिकृत पार्किंग के कारण याचिकाकर्ता को आने-जाने में अधिक समय लगता है और यह स्वच्छ और स्वस्थ पर्यावरण के उसके मौलिक अधिकार का उल्लंघन है। याची ने कहा सड़क पर वाहनों की अनधिकृत पार्किंग के कारण उक्त सड़क के प्रभावी उपयोग से वंचित किया जा रहा है। याचिकाकर्ता ने कहा कि उसने उत्तरी दिल्ली नगर निगम आयुक्त, उत्तरी दिल्ली नगर निगम उपायुक्त, पुलिस उपायुक्त (यातायात), संयुक्त पुलिस आयुक्त (यातायात), दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण को शिकायत दी। इसके बावजूद कोई कार्रवाई नहीं की गई। याचिकाकर्ता ने शिकायत की स्थिति जानने के लिए एक आरटीआई आवेदन दायर किया जिसमें जवाब दिया गया कि उसकी शिकायतों को विभिन्न अधिकारियों को स्थानांतरित कर दिया गया है। याची ने कहा कि सड़क व फुटपाथ सार्वजनिक संपत्ति है जिसका उद्देश्य आम जनता की सुविधा की सेवा करना है और निजी उद्देश्यों के लिए इसका अनाधिकृत उपयोग इस उद्देश्य को विफल करता है। किसी को भी अपने निजी उद्देश्य के लिए सार्वजनिक संपत्ति का उपयोग करने का अधिकार नहीं है। ऐसे में संबंधित पक्षों को उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया जाए।