दुनियाभर में कोरोना का कहर फैलने की शुरुआत से ही इस वायरस को चीनी वायरस, चीन का जैविक हथियार और दुनिया के खिलाफ चीन की साजिश कहकर आरोप लगाए जा रहे हैं।

हालांकि चीन शुरू से इस पर आपत्ति जाहिर करता आता आया है और अपनी नाराजगी दिखाता रहा है। आलम है कि अभी तक कोरोनावायरस के ऑरिजन को लेकर अभी तक स्पष्ट रूप से जानकारी नहीं मिल पाई है।

वहीं, आरोप प्रत्यारोप के दौर में अमेरिका के पूर्व राष्‍ट्रपति डोनाल्‍ड ट्रंप ने एक बार फिर से कोरोना वायरस की उत्‍पत्ति को लेकर चीन पर जोरदार हमला बोला है। ट्रंप ने कहा कि अमेरिकी खुफिया रिपोर्ट में भी इस बात की आशंका को खारिज नहीं किया गया है। इस रिपोर्ट में कहा गया था कि चीन की ओर से कोविड-19 महामारी के बारे में खुलासा किए जाने से कुछ सप्ताह पहले नवंबर 2019 में वुहान जीवविज्ञान प्रयोगशाला के तीन शोधकर्ताओं ने इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराने को कहा था।

ट्रंप ने फॉक्‍स नेशन कार्यक्रम में एंकर से कहा कि आप अब कोरोना वायरस के लैब से निकलने के सिद्धांत को ‘संभावना’ शब्‍द नाम दे सकते हैं। उन्‍होंने कहा कि अब इस बारे में बहुत कम संदेह बचा हुआ है। इससे पहले ट्रंप ने इंसान के द्वारा कोरोना वायरस पैदा करने की आशंका पर जोर दिया था। ट्रंप ने अपने राष्‍ट्रपति रहने के दौरान कई बार कोरोना वायरस को चाइना वायरस नाम दिया था।

डोनाल्‍ड ट्रंप ने अपने दावे के समर्थन में कोई नया या विशेष साक्ष्‍य नहीं दिया। बता दें कि चीन की ओर से कोविड-19 महामारी के बारे में खुलासा किए जाने से कुछ सप्ताह पहले नवंबर 2019 में वुहान जीवविज्ञान प्रयोगशाला के तीन शोधकर्ताओं ने इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती कराने को कहा था। पुराने अमेरिकी खुफिया दस्तावेज के हवाले से एक रिपोर्ट में यह दावा किया गया है।

इस जानकारी के सामने आने के बाद एक बार फिर इस बात की व्यापक जांच के लिए दबाव बढ़ सकता है, जिसमें यह आशंका जतायी गई थी कि कोरोना वायरस चीन की प्रमुख प्रयोगशाला से ही फैला है। ‘द वॉल स्ट्रीट जर्नल’ की रिपोर्ट के मुताबिक, इस रिपोर्ट में सामने आया विवरण उस सरकारी तथ्यपत्र से अधिक विस्तृत है जोकि ट्रंप प्रशासन के अंतिम दिनों के दौरान जारी किया गया था।

कोविड-19 बीमारी और सामान्य मौसमी बीमारी जैसे लक्षण

इस तथ्यपत्र में कहा गया था कि कोरोना वायरस एवं अन्य रोगजनक के लिए शोध करने वाली वुहान प्रयोगशाला के कई शोधकर्ता वर्ष 2019 के आखिरी महीनों में बीमार पड़े थे और उनमें कोविड-19 बीमारी और सामान्य मौसमी बीमारी जैसे लक्षण थे। हालांकि, चीन ने अखबार की रिपोर्ट को खारिज किया है। चीनी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता झाओ लिजियान ने कहा कि वुहान जीवविज्ञान प्रयोगशाला ने 23 मार्च को एक बयान जारी कर यह स्पष्ट किया था कि संस्थान में कोविड-19 संक्रमण का एक भी मामला नहीं था।

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