उत्तराखंड में आई तबाही के बाद मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मृतकों के परिवार वालों को 4-4 लाख रुपए की सहायता राशि देने का ऐलान किया है। बता दें कि उत्तराखंड के चमोली जिले में रविवार को हिमखंड के टूटने से अलकनंदा और इसकी सहायक नदियों में अचानक आई विकराल बाढ़ के बाद मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने कहा कि नदी के बहाव में कमी आई है जो राहत की बात है और हालात पर लगातार नजर रखी जा रही है।  राज्य के चमोली जिले के जोशीमठ में रविवार को नंदादेवी ग्लेशियर के एक हिस्से के टूट जाने से धौली गंगा नदी में विकराल बाढ़ आई और पारिस्थितिकीय रूप से नाजुक हिमालय के हिस्सों में बड़े पैमाने पर तबाही हुई।  भारत-तिब्बत सीमा पुलिस (आईटीबीपी) के एक प्रवक्ता ने तपोवन-रेनी में एक विद्युत परियोजना प्रभारी को उद्धृत करते हुए कहा कि परियोजना में काम करने वाले 150 से अधिक मजदूरों की मौत की आशंका है। अभी तक आईटीबीपी ने 10 शव को बरामद किया है और 16 लोगों को बचाया है।

प्रधानमंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से 2-2 लाख की सहायता

वहीं, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ग्लेशियर के टूटने के बाद हादसे में जान गंवाने वालों को परिजनों को प्रधान मंत्री राष्ट्रीय राहत कोष से 2-2 लाख रुपए की सहायता राशि देने का ऐलान किया है। जबकि गंभीर रूप से घायलों को 50-50 हजार रुपए दिए जाएंगे।

मृतकों के परिवार को मिलेंगे 4-4 लाख

उत्तराखंड में आई तबाही के बाद मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत ने मृतकों के परिवार वालों को 4-4 लाख रुपए की सहायता राशि देने का ऐलान किया है।

आईटीबी ने टनल नंबर-2 से 12 कर्मचारियों को बाहर निकाला

आइटीबीपी ने रेस्क्यू चलाकर एनटीपीसी की टनल नंबर-2 से 12 कर्मचारियों को बाहर सुरक्षित निकाला।

चमोली से देहरादून वापस लौटे मुख्यमंत्री रावत

उत्तराखंड के मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत देहरादून वापस लौट आए हैं। देहरादून पहुंचने के बाद मुख्यमंत्री ने कहा कि मैं एनडीआरएफ के साथ बैठक करने जा रहा हूं जिसमें सेना, राज्य और आईटीबी के अधिकारी शामिल हैं। उन्होंने कहा कि मैं जल्द ही प्रेस के साथ मीटिंग करूंगा और स्थिति पर सभी को अपडेट करूंगा।

प्रतिकूल मौसम की कोई आशंका नहीं

मौसम विभाग ने जानकारी दी है कि उत्तराखंड के प्रभावित इलाकों में सात-आठ फरवरी को प्रतिकूल मौसम की कोई आशंका नहीं है।

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