खेल के लिए पंचाट न्यायालय (सीएएस) द्वारा गुरुवार को एक फैसले के बाद अगले दो वर्षों के लिए रूस को प्रमुख खेल आयोजनों में प्रतिबंधित कर दिया गया है। 16 दिसंबर, 2022 तक रूस अपना नाम, ध्वज और राष्‍ट्रगान का उपयोग किसी भी अंतर्राष्‍ट्रीय खेल आयोजन में नहीं कर पाएगा। इसका मतलब हुआ की रूस अब रूस ,टोक्यो ओलंपिक और 2022 के बीजिंग विंटर ओलंपिक में हिस्सा नहीं ले पाएगा।

इस निर्णय पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए वाडा के अध्यक्ष विटोल्ड बांका ने लिया है वाडा के पक्ष में आये इस फैसले में कहा गया है कि वाडा के निष्कर्ष स्पष्ट रूप से सही हैं और रूसी अधिकारियों ने नियोजित ढंग से डोपिंग योजना बनायी।

वहीं कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन फॉर स्पोर्ट्स ने रूस को अगले दो साल के लिए किसी बड़ी खेल प्रतियोगिताओं की मेजबानी का दावा करने से भी प्रतिबंधित कर दिया है। हालांकि यदि रूसी एथलीट और टीमें यदि डोपिंग में नहीं फंसती हैं तो वे बीजिंग में अगले साल के टोक्यो ओलंपिक और 2022 के शीतकालीन खेलों में प्रतिस्पर्धा कर सकती हैं। साथ ही उन्हें कतर में 2022 विश्व कप सहित विश्व चैंपियनशिप भी हिस्सा लेने की अनुमति होगी।

विश्व डोपिंग रोधी एजेंसी (वाडा) ने चार साल के प्रतिबंध की पेशकश की थी और उसकी अपेक्षा में रूस को कम सजा मिली है। रूस के लिए छोटी जीत प्रमुख प्रतियोगिताओं में टीम का प्रस्तावित नाम भी है।

वाडा और आईओसी के अनुसार, पिछले साल रूस के राज्य अधिकारियों ने पिछले साल वाडा के जांचकर्ताओं को सौंपने से पहले मॉस्को परीक्षण प्रयोगशाला के एक डेटाबेस के साथ छेड़छाड़ की थी। जिसके बाद कोर्ट ऑफ आर्बिट्रेशन फॉर स्पोर्ट्स ने रूस को यह सजा सुनाई है।

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