इस वक़्त तो 17 मई तक देश लॉक डाउन में रहने की मानसिकता में है, लेकिन तेलंगाना ( telangana) सरकार ने अभी से अपने यहां लॉक डाउन 29 मई तक बढ़ा दिया है। ये आने वाले समय की बानगी है। यानी और भी राज्य ऐसा कर सकते हैं या आंशिक लॉक डाउन का समर्थन कर सकते है।

तेलंगाना सरकार को कोरोना संकट कम होता नहीं दिख रहा है। यही कारण है कि सीएम चंद्रशेखर राव ने ये ऐलान किया है।

मुख्यमंत्री ने जनता से कहा है कि आवश्यक वस्तुओं की खरीदारी शाम छह बजे तक कर ली जाय। इसके बाद लोगों को घर में ही रहना है क्योंकि शाम 7 बजे के बाद राज्य में कर्फ्यू (carfew )लग जाएगा। ऐसे में अगर कोई बाहर निकलता है तो पुलिस उसके खिलाफ एक्शन ( acton) लेगी। तेलंगाना में कोरोना वायरस के 1085 मरीज सामने आ चुके हैं। जबकि 585 लोग या तो ठीक हो चुके हैं या फिर उनको अस्पताल से छुट्टी दे दी गई है। राज्य में कोरोना वायरस से अब तक 29 लोगों की मौत हो चुकी है।

उधर तेलंगाना सरकार पर लॉकडाउन के दौरान किसानों को पर्याप्त राहत देने तथा उनके उत्पाद खरीदने में विफल रहने का आरोप लगाते हुए विपक्षी दलों ने विरोध-प्रदर्शन किया। कांग्रेस ने अपने प्रदेश मुख्यालयों एवं जिला कार्यालयों में राज्य सरकार के खिलाफ ‘सत्याग्रह’ का आयोजन किया।प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एन. उत्तम कुमार रेड्डी ने कहा कि चंद्रशेखर राव की सरकार विभिन्न प्रकार के कृषि उत्पाद खरीदने में पूरी तरह विफल रही है। प्रवासी श्रमिकों के सामने जो समस्या है, वह देश में सबसे बड़ा मानवीय मसला है । उन्होंने पार्टी (party )नेताओं से अपील की कि जो श्रमिक अपने घरों को लौटना चाहते हैं, उनकी वे मदद करें। उन्होंने आरोप लगाया कि तेलंगाना राष्ट्र समिति की सरकार कोरोना वायरस संक्रमण की पर्याप्त जांच नहीं करवा रही है। तेदेपा की राज्य इकाई के अध्यक्ष एल रमना एवं अन्य नेताओं ने ‘मूक प्रदर्शन’ किया। पार्टी ने सरकार से जरुरतमंद किसानों को राहत देने की मांग की। तेलंगाना जन समिति ने भी इसी तरह का विरोध- प्रदर्शन अपने कार्यालयों में किया ।

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