बनारस दौरे पर आए प्रमुख सचिव नगर विकास मनोज कुमार ने शहर की जीआई सर्वे कर रही कम्पनी का उस समय सफेद झूठ पकड़ा। जब मनोज कुमार ने जीआइ सर्वे कर रही कंपनी से कहा कि वाराणसी शहर में सबसे बड़ा कौन सा व्यावसायिक भवन है। इस पर कंपनी के अफसरों ने सारनाथ के एक व्यावसायिक भवन का नाम बताया।

बैठक से निकलते ही उन्होंने सारनाथ जाकर मौका-मुआयना किया। पाया कि कंपनी ने झूठी जानकारी दी है। इस पर उनका पारा चढ़ गया। मनोज कुमार ने कंपनी के अफसरों को फटकार लगाते हुए कहा तय समय से कार्य ठीक कराया जाए। तय समय पर कार्य पूरा न करने की दशा में कार्रवाई की चेतावनी दी। 

प्रमुख सचिव ने नगर निगम के कर विभाग की बैठक के दौरान अफसरों से 50 बड़े बकायेदारों की सूची बनाकर उन पर सख्ती करते हुए वसूली करने का आदेश दिया। गृहकर के इजाफा की खातिर व्यावसायिक भवनों का सर्वे कराकर कर के दायरे में लाने के लिए निर्देशित किया।

प्रमुख सचिव नगर विकास मनोज कुमार ने सर्किट हाउस में सीवर समस्या का हल निकालने के लिए जलकल विभाग के ठेकेदारों के साथ बैठक भी की। इसमें जलकल के अफसरों ने चतुराई भरा कार्य किया। उन्हीं ठेकेदारों को बुलाया जो उनके खास हैं। इस बैठक में उन ठेकेदारों को नहीं बुलाया जिनका भुगतान बकाया था, जिसकी मांग करने पर अफसरों ने उनको ब्लैक लिस्ट कर दिया। अफसरों ने ठेकेदारों को जो समझाया था उसी अनुसार उन्होंने प्रमुख सचिव के समक्ष अपनी बात रखी जिसमें कार्रवाई के दायरे में आए ठेकेदारों के खिलाफ जमकर गलत बयानबाजी की गई।

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